Monday, August 29, 2022

बेरोजगारी

विपक्ष के मंझे हुए एक नेता वर्तमान समस्या,समस्या के कारण और निवारण पर जनसभा में बोल रहे थे। चीख चीख कर व्यवस्था की पोल खोल रहे थे। जिंदाबाद का नारा बीच-बीच में  बुलंद हो रहा था। प्रथम पंक्ति की भीड़ उत्तेजित  थी, पिछला पंक्ति सो रहा था।  इसी बीच मुद्दा बेरोजगारी का आया।  नेताजी ने इसे सभी समस्याओं का जड़ बताया।  कहा,"अपराध" जैसी समस्या समाज में बेरोजगारी से आता है।  तभी एक शख्स चिल्लाया, नेता जी यह सच है कि अपराध बेरोजगारी से आता है मगर श्रीमान यह बतलाइए यह बेरोजगारी कहां से आता है? नेताजी सवाल को अनसुना कर लए में बहे जा रहे थे। अल-बल-सल 'मन की बात' कहे जा रहे थे। प्रश्न पुनः पूछे जाने पर नेता जी झल्ला गए और सेकंड भर में अपनी औकात पर आ गए। कहने लगे,बेरोजगारी का कारण वर्तमान सरकार है।  इस सरकार पर धिक्कार है।  सत्ता पक्ष भ्रष्टाचार के शीर्ष पर अराजकता फैला रही है।  अशिक्षा ,अदूरदर्शिता और इसी भ्रष्टाचार से बेरोजगारी आ रही है। अब नेताजी अपने रंग में आ रहे थे। सभी बेरोजगार नेता जी की जय जयकार लगा रहे थे। एक बेहद गम्भीर मुद्दा बेरोजगारों के जन सभा मे विपक्ष के एक नेता के कारण उबल रहा था। जय जय कार की सोर से सभी बेरोजगारों का मन बहल रहा था। अरशद अली

मेरी जिन्दगी

 एक कलम लो और कागज पर एक सीधी लकीर खींच दो।

नीचे लिख दो मेरी जिंदगी.....

उस सीधी लाइन के


पहले छोर को थोडा गाढ़ा बिन्दु कर दो

और निचे दर्ज कर दो

अपने जन्म की तारिख।

लकीर के अन्तिम छोर को हल्का रहने दो और कुछ लागतार बिंदू  डाल दो .....कुछ इस तरह।

अब बीच के भाग पर नज़र गड़ा कर एक सवाल पुछो खुद से....

क्या इसके अलावा भी जिंदगी का कोई ढंग या रंग तुमने देखा है ?

जिंदगी सरल और सत्य है,एक सीधी लकीर के जैसी  बाकी सब कुछ बनावटी है।

जिंदगी को सरल ही रहने दो और किरदार को आईना।

खामखा,जिंदगी को ताबीज मत पहनाओ।

लंबी उम्र की दुआ अम्मा कर देगी और अब्बू जिंदगी के लकीर को आसान बनाए रखेंगे।

तुम बस दुआ करो।

सीधी जिंदगी लंबी दिखेगी और बहुत आसन भी।

ऐसे भी जिंदगी आसान है खुदा का इस पर एहसान है।

एक कलम लो और कागज़ पर खिंच दो एक सीधी लकीर....

और निचे लिख दो "मेरी जिन्दगी"

अरशद अली

बोकारो इस्पात नगर